राज्य सरकार ने मानगो-डिमना चौक के पास 13 एकड़ भूमि पर निर्माण प्रक्रिया की दी हरी झंडी
रांची। औद्योगिक नगरी जमशेदपुर के यात्री अब जल्द ही अत्याधुनिक और विश्वस्तरीय बस परिवहन सुविधा का लाभ उठा सकेंगे। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के सुगम, सुरक्षित और आरामदायक सार्वजनिक परिवहन के संकल्प के तहत राज्य सरकार ने अंतरराज्यीय बस टर्मिनल (ISBT) के निर्माण की प्रक्रिया औपचारिक रूप से शुरू कर दी है।
यह भव्य परियोजना मानगो डिमना चौक के पास 13 एकड़ भूमि पर तैयार होगी, जो पूरे कोल्हान और आसपास के जिलों के लिए एक प्रमुख यातायात केंद्र बनेगी।
हाइब्रिड एन्युइटी मोड पर निर्माण
नगर विकास मंत्री सुदिव्य कुमार ने परियोजना को हेम (Hybrid Annuity Mode) पर निर्माण की सैद्धांतिक स्वीकृति दे दी है। अब इसे प्रशासनिक स्वीकृति के लिए प्रस्तुत किया जा रहा है। नगर विकास विभाग के प्रधान सचिव सुनील कुमार को उच्च गुणवत्ता के साथ परियोजना को समयबद्ध तरीके से पूरा करने का निर्देश दिया गया है, जबकि क्रियान्वयन की जिम्मेदारी जुडको को दी गई है।
परियोजना का वास्तु-खाका कर्नाटक की आइडेक एजेंसी ने तैयार किया है। इसकी अनुमानित लागत 145.24 करोड़ रुपये होगी।
आधुनिक डिजाइन और विशाल परिसर
ISBT परिसर में यात्री सुविधा और संचालन के लिए अत्याधुनिक डिजाइन अपनाया जाएगा।
- मुख्य टर्मिनल भवन — पाँच मंजिला (दो बेसमेंट + ग्राउंड + तीन मंजिल)
- वाणिज्यिक भवन — एक बेसमेंट + ग्राउंड + तीन मंजिल
- बस एवं वाहन पार्किंग — 50 आदर्श बस पार्किंग, 23 एलिगेटिंग बस वे, 300 कार और 350 बाइक पार्किंग
- अन्य सुविधाएँ — जल संसाधन विभाग का कार्यालय व गोदाम, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (STP), वाटर ट्रीटमेंट प्लांट (WTP), एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट (ETP) और आंतरिक सड़कों का नेटवर्क
यात्रियों और चालकों के लिए विशेष प्रावधान
- फर्स्ट फ्लोर — 80 सीटों वाला एसी वेटिंग हॉल, 120 बेड का यात्री डोरमेट्री, 60 बेड का चालक डोरमेट्री, फूड कोर्ट, शॉप्स, सुरक्षा कार्यालय, ट्रेवल एडमिन ऑफिस और आधुनिक शौचालय
- ग्राउंड फ्लोर — 23 बस वे, 18 टिकट काउंटर, क्लॉक रूम, लॉजिस्टिक सेंटर, रेस्टोरेंट, पब्लिक टॉयलेट और फूड कोर्ट
पूरे परिसर को झारखंडी कला, शिल्प और पेंटिंग्स से सजाया जाएगा, जिससे यह टर्मिनल स्थानीय संस्कृति का भी प्रतीक बनेगा।
परिवहन नेटवर्क में बड़ा बदलाव
इस टर्मिनल के निर्माण से जमशेदपुर, कोल्हान और आस-पास के राज्यों — ओडिशा, पश्चिम बंगाल और बिहार — के बीच बस सेवाओं की कनेक्टिविटी और सुगमता में अभूतपूर्व सुधार होगा। यात्री सुविधा, पार्किंग, टिकटिंग और खानपान से लेकर सुरक्षा तक, हर व्यवस्था को अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप बनाया जाएगा।

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