रांची में ठेला-खोमचा दुकानदारों का निगम कार्यालय पर घेराव, रोज़ी-रोटी छिनने से आक्रोशित 300 से अधिक लोग उतरे सड़कों पर
रांची । राजधानी रांची में सोमवार को ठेला-खोमचा दुकानदारों ने नगर निगम की कार्रवाई के खिलाफ ज़बरदस्त विरोध प्रदर्शन किया। सैकड़ों की संख्या में जुटे इन दुकानदारों ने निगम कार्यालय का घेराव कर अपनी नाराज़गी जताई। उनका कहना है कि निगम द्वारा बिना वैकल्पिक व्यवस्था किए, अचानक सड़क किनारे लगे ठेला-खोमचा हटवा दिए गए, जिससे उनकी रोज़ी-रोटी पूरी तरह प्रभावित हो गई है।
स्थानीय व्यापारियों के मुताबिक, निगम की कार्रवाई के कारण गरीब दुकानदारों और रेहड़ी-ठेला चलाने वालों के सामने परिवार पालने का संकट खड़ा हो गया है। आंदोलन में शामिल एक दुकानदार ने कहा – “हम वर्षों से यहां दुकान लगाकर अपने बच्चों का पेट पाल रहे हैं। निगम ने अचानक दुकानें हटवा दीं। अगर हमें कहीं और जगह दी जाती, तो शायद इतनी परेशानी न होती।”
प्रदर्शन के दौरान करीब 300 से अधिक ठेला-खोमचा दुकानदार निगम दफ़्तर के बाहर नारेबाज़ी करते हुए अपनी मांगों को लेकर डटे रहे। उनका कहना था कि निगम को या तो वैकल्पिक बाज़ार उपलब्ध कराना चाहिए या फिर दुकानों को यथास्थान लगाने की अनुमति दी जानी चाहिए।
घेराव की सूचना मिलते ही पुलिस बल मौके पर पहुंचा और स्थिति को नियंत्रण में लेने का प्रयास किया। पुलिस अधिकारियों ने आक्रोशित दुकानदारों से बातचीत की और शांति बनाए रखने की अपील की। हालांकि, देर तक चले इस हंगामे के कारण निगम कार्यालय परिसर में अफरा-तफरी का माहौल बना रहा।
नगर निगम की ओर से अब तक कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है, लेकिन सूत्रों के अनुसार निगम का तर्क है कि सड़क किनारे अतिक्रमण के कारण यातायात व्यवस्था प्रभावित हो रही थी, इसी वजह से ठेला-खोमचा हटाए गए। वहीं दुकानदारों का कहना है कि जब तक उनके पुनर्वास की व्यवस्था नहीं की जाती, वे आंदोलन जारी रखेंगे।
स्थानीय सामाजिक संगठनों ने भी दुकानदारों की मांगों का समर्थन करते हुए निगम से आग्रह किया है कि वह गरीब तबके की आजीविका छिनने के बजाय उन्हें व्यवस्थित बाज़ार की सुविधा उपलब्ध कराए।

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